कहां मिलेगा हरियाणा विधानसभा का संपूर्ण डिजिटलाइज रिकॉर्ड – Complete Digitalized Records Of Haryana Assembly

Complete Digitalized Records Of Haryana Assembly

Complete Digitalized Records Of Haryana Assembly : चंडीगढ़, 27 फरवरी- हरियाणा विधानसभा की वेबसाइट पर आज डिजिटल बिजनेस मॉडयूल लॉन्च किया गया। इस के तहत हरियाणा के गठन से लेकर आज तक यानी वर्ष 1966 से लेकर आज तक का संपूर्ण रिकॉर्ड डिजिटल रूप में मिलेगा।

ई-विधानसभा के विजन को आगे बढ़ाते हुए हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष श्री ज्ञान चंद गुप्ता ने एक बड़ी पहल करते हुए विधानसभा के संपूर्ण रिकॉर्ड को डिजिटलाइज रूप दिया है।

इसके लिए आज विधानसभा अध्यक्ष श्री ज्ञान चंद गुप्ता, सदन के नेता मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल, उप मुख्यमंत्री श्री दुष्यंत चौटाला, नेता प्रतिपक्ष श्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और विधानसभा उपाध्यक्ष श्री रणबीर गंगवा ने विधानसभा की वेबासइट पर डिजिटल लेजिसलेटिव बिजनेस मॉडयूल लॉन्च किया।

Complete Digitalized Records Of Haryana Assembly

इस वेबसाइट पर 1966 से लेकर विधानसभा का आज तक का संपूर्ण रिकॉर्ड डिजिटल रूप से उपलब्ध होगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने विधानसभा अध्यक्ष को बधाई देते हुए कहा कि रिकॉर्ड डिजिटल होने से इसका उपयोग अच्छे से किया जा सकेगा और कभी भी जरूरत पड़ने पर इसे देखा जा सकेगा।

हरियाणा में सभी विभागों के रिकॉर्ड को डिजिटलाइज किया जाएगा : मनोहर

Records of all departments in Haryana will be digitalized : CM Manohar Lal

उधर दूसरी तरफ मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने सभी विभागों के रिकॉर्ड को डिजिटलाइज करने की घोषणा की है। डिजिटल युग में आज हरियाणा ने नई उंचाईयों को छू लिया जब हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने घोषणा करते हुए कहा कि सभी विभागों के रिकॉर्ड को डिजिटलाइज किया जाएगा।

इसके लिए मुख्यालय तथा जिला स्तर पर डिजिटल रिकॉर्ड रूम तैयार किए जाएंगे। इस व्यवस्था के लिए मौजूदा बजट 2024-25 के अलावा आवश्यकता पड़ने पर आगामी अनुपूरक बजट अनुमानों में बजट का प्रावधान किया जाएगा।

श्री मनोहर लाल ने कहा कि सरकार ने कैथल जिला से राजस्व विभाग के रिकॉर्ड को डिजिटलाइज करने की शुरुआत की थी और आज पूरे विभाग का रिकॉर्ड डिजिटलाइज हो चुका है।

हरियाणा में गांव से कितनी दूरी तक स्थित डेरे व ढाणियों को मिलेंगे फ्री बिजली कनेक्शन

हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने ग्रामीण क्षेत्र के बिजली उपभोक्ताओं के लिए घोषणा करते हुए कहा कि सरकार द्वारा अब गांव की फिरनी से 3 किलोमीटर तक स्थित डेरे व ढाणियों को बिजली क्नेक्शन दिए जाएंगे।

पहले यह सीमा 1 किलोमीटर थी। इसके साथ ही, 300 मीटर तक डेरे व ढाणियों को दिये जाने वाले बिजली क्नेक्शन पर उपभोक्ताओं को कोई खर्च नहीं देना होगा।

300 मीटर के बाद भी कोई क्नेक्शन दिया जाता है तो उपभोक्ता से आधा खर्च लिया जाएगा और आधा खर्च सरकार वहन करेगी। पहले यह सीमा 150 मीटर थी।

मुख्यमंत्री ने आज यहां हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र के दौरान बोल रहे थे।

श्री मनोहर लाल ने एक अन्य घोषणा करते हुए कहा कि डेरे व ढाणियों के जो उपभोक्ता ट्यूबवेल की बजाय ग्रामीण फीडर से बिजली क्नेक्शन लेना चाहता है, तो टांसफार्मर का पूरा खर्च सरकार वहन करेगी। उपभोक्ता को केवल नई लाइन का खर्च वहन करना होगा।

एचकेआरएन नौकरियों में एससी और बीसी को कितना दिया जा रहा है आरक्षण

हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा कि हरियाणा कौशल रोजगार निगम के तहत रखे जाने वाली मैनपॉवर में अनुसूचित जाति तथा पिछड़ा वर्ग के लिए निर्धारित आरक्षण का निश्चित तौर पर अनुपालन किया जा रहा है।

वर्तमान में बीसी-ए की 16 प्रतिशत आरक्षण के विरुद्ध 15.64 प्रतिशत और बीसी-बी की 11 प्रतिशत आरक्षण के विरुद्ध 11.4 प्रतिशत मैनपॉवर है। इसके अलावा, 20.63 प्रतिशत कर्मचारी अनुसूचित जाति से संबंधित हैं।

मुख्यमंत्री आज यहां हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र में प्रश्नकाल के दौरान जवाब दे रहे थे।

श्री मनोहर लाल ने कहा कि वास्तव में हरियाणा कौशल रोजगार निगम के तहत कोई पक्की भर्ती नहीं है, ये केवल अस्थाई तौर पर कार्य के लिए रखे जाते हैं।

इसके तहत रखे जाने वाले लोगों की कोई निश्चित संख्या नहीं होती, जिसमें आरक्षण की गणना की जा सके। ये तो विभाग अनुसार आवश्यकता के अनुरूप रखे जाते हैं।

Complete Digitalized Records Of Haryana Assembly

फिर भी सरकार अनुसूचित जाति व पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षित क्रमश: 20 से 27 प्रतिशत का पूरा ध्यान रख रही है। उन्होंने कहा कि यदि पहली भर्ती में आरक्षण की संख्या कम होती है, तो अगली भर्ती में उसे पूरा कर लिया जाता है।

उन्होंने कहा कि हरियाणा कौशल रोजगार निगम को निजी क्षेत्र में युवाओं को रोजगार के अवसर उपलब्ध करवाने के लिए भी उपयोग किया जाता है।

निजी उद्योगों को निगम पर पंजीकृत डाटा में से उनकी मांग के अनुसार युवाओं की सूची उपलब्ध करवा दी जाती है, उसके बाद उद्योग अपने अनुसार युवाओं को नौकरी देते हैं।

श्री मनोहर लाल ने कहा कि सरकारी विभागों द्वारा निगम के पोर्टल पर मैनपॉवर की मांग भेजी जाती है, उसके अनुरूप निर्धारित मानदंडों के अनुसार अंकों के आधार पर युवाओं का चयन करके विभागों को सूची भेज दी जाती है।

हालांकि, कभी-कभी विभाग अपनी कर्मचारियों की मांग में बदलाव कर देते हैं, जिस कारण चयनित युवाओं को संबंधित विभाग ज्वाइंन नहीं करवा पाते।

अब सरकार कोशल रोजगार निगम के पोर्टल को एचआरएमएस के साथ एकीकृत कर रही है। अब सरकार ने यह प्रावधान किया है कि यदि विभाग अपनी मैनपॉवर की मांग में बदलाव करना चाहते हैं, तो वे युवाओं के चयन से पहले कर सकते हैं।

एक बार युवाओं का चयन हो गया तो विभाग को अनिवार्य रूप से उन्हें ज्वाइन करवाना पड़ेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि विदेशों में रोजगार के अवसर उपलब्ध करवाने के उद्देश्य से विदेश सहयोग विभाग के सहयोग से हरियाणा कौशल रोजगार पोर्टल के माध्यम से युवाओं का पंजीकरण करवाया गया है।

इनमें इजरायल के लिए भी आवेदन किया गया है। उन्होंने बताया कि 8169 युवाओं ने आवेदन किया था, जिसमें से 1909 युवाओं को कौशल प्रशिक्षण प्रदान किया गया और 219 युवाओं का चयन किया गया है।

इनके पासपोर्ट की वैरिफिकेशन चल प्रक्रिया चल रही है। उसके बाद वे इजरायल जाएंगे। ये सब कार्य इजरायल सरकार और राष्टीय कौशल विकास मिशन के माध्यम से हो रहा है।

उन्होंने कहा कि इन युवाओं को इजरायल में लगभग 1 लाख रुपये से अधिक वेतन पर रोजगार उपलब्ध करवाया जाएगा। इन युवाओं के लिए इंश्योरेंस की भी व्यवस्था की गई है।

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